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Saturday, February 22, 2020

इंसान कीमती


न हिन्दू कीमती
न मुस्लमान कीमती
इस सारे जहाँ में सिर्फ
इंसान कीमती

#Infinity

Wednesday, October 31, 2018

भर फेफड़ा हवा कहाँ



मास्क बिक रहे हैं धरल्ले से बाज़ार में
कट के दरख्त कई पड़े है कतार में
सुबह की हवा वैसी नहीं रही अब
कहते फिर रहे है गमले में पौधे लिए सब
पूछते है पौधे बेचने वाले से कि
दे दो वो पौधा जो देता हो सबसे ज्यादा ऑक्सीजन
बालकोनी के बौने पौधों क्या करेंगे दूर प्रदूषण
अब तक हम पीते थे पानी लगा के फ़िल्टर
मशीन खरीदनी है कल जो हवा को कर रही है साफ़
काश ये हवा साफ़ करने वाली मशीन लगी हो हर चौक पे
फिर २-४ गंगे पी लेंगे दोस्तों के साथ चाय की दूकान में
पूरी सांस भी नहीं मिलती है अब
भर फेफड़ा हवा कहाँ

#Infinity


Friday, March 16, 2018

भूला नहीं तुझे भूल से भी




तू नहीं तो क्या
तेरी याद मेरी ही तो है
तू याद है अब भी
भूला नहीं तुझे भूल से भी

#Infinity

Friday, November 17, 2017

माँ है वो माँ ही तो है वो


तोड़ के अपने
बुन देती है पंख मेरे
टूटी भी हो खुद तो
जोड़ देती है मुझे हरवक्त
माँ है वो
आँसू ले के मेरे
पंखुड़ियां लौटा देती है गुलाब की
खाली पेट भी हो तो पूछती है और ले लो थोड़ी
दिखाती नही एक कतरा चोटिल भी हो गर
बटोर के ले लेती है दुख सारे
माँ है वो माँ ही तो है वो।
#Infinity




Sunday, October 15, 2017

उस पेड़ के कट जाने के बाद



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उसके बाद

लूझ के उठा लेते थे जो बोझ अपनी पत्तियों पर
जमा है धूल हमारे खिड़कीओं पे वो अब
रोशनी की भी झुक जाती है कमर
लड़ते हुए इन मिट्टी जमी शीशों से
सांस की भी सीमा घट गई है
सड़क वाले उस पेड़ के कट जाने के बाद

#Infinity

Sunday, August 13, 2017

अंदर के इंसान को इंसान ही रहने दो




हिन्दू को हिन्दू
मुस्लमान को मुसलमान ही रहने दो
कलयुग में बचा है जो थोड़ा सा
अंदर के इंसान को इंसान ही रहने दो

#Infinity


Saturday, August 12, 2017

तुझे बना के शहंशाह जो की हमने खता





तुझे बना के शहंशाह जो की हमने खता
सज़ा देता है तू शायद बदले उसी के

#Infinity



वोट दे के तुम्हे सहंनशाह बनाने वालो की खता





देश के लाल मर जायेंगे यूँ हीं
तो देश कौन संभालेगा ये बता
क्या है वोट दे के तुम्हे सहंनशाह बनाने वालो की खता
खुद की गुणगान में खर्च किये करोड़ो
कुछ एक बच्चो को न बचा सके
क्या है मेरे अपने, तुम्हारे होने के उस गद्दी पर
जब मेरे बच्चो का भविष्य में अंधेर है

#Infinity


Wednesday, August 2, 2017

उसके छोटे कंधे ने उठा लिया है समय से पहले सारे परिवार का बोझ






मंदिर मस्जिद गुरूद्वारे में
चल रही है नोटों की गिनती
बाहर मर जा रहा है
भूख से हर रोज कोई मजबूर आत्मा
गुल्ली डंडे वाले हाँथ
ढूंढता है कूड़े के ढेर में रोटी
गिनता है रोटी और घर के सदस्य
उसके छोटे कंधे ने उठा लिया है
समय से पहले सारे परिवार का बोझ


#Infinity

Thursday, July 20, 2017




उनको तो पेट के लिए
बेचनी पड़ती है इज्जत
करना पड़ता है देह का व्यापार
तुम्हारी क्या मजबूरी थी
जो तुम लूट लेते हो अश्मत किसी की
कर क्यों देते हो
किसी का मन का देह ताड़-ताड़


__Infinity

Tuesday, April 11, 2017

इंतजार में बैठे रिश्ते



इंतजार में बैठे रिश्ते

तुम आओ उड़ के भरपूर
छू के आओ गगन सारा
लाँघ आओ महासागर सारे
हम यहीं है
रहेंगे इंतजार में जिन्दा रहने तक
अस्थियां भी करेंगी इंतज़ार तुम्हारा
जब थक जाना दौड़ते-दौड़ते
आज जाना
जब भी जरूरत पड़े सुस्ताने की
हमारे अंजुलिओं की छाँव
अब भी गहरी है
इंतजार में बैठे रिश्ते
फिर अपना लेंगे तुम्हे ......




__Infinity

Wednesday, February 15, 2017

परदे आँखों पे हो तो बेहतर है जनाब



परदे आँखों पे हो तो बेहतर है जनाब
कपड़े पुरे भी हो
 दरिंदे लूट जाते है आबरू अबलाओ की

 __Infinity

Tuesday, August 30, 2016

देश बिक रहा है





देश बिक रहा है
तुम भी अपना हिस्सा बेंच दो  हुक्मराणों
हम तो तब भी फकीर थे
रहेंगे वही
हमारे हिस्से मे तो दो गज जमीन भी नहीं
गिरेंगे कहीं मिल जाएंगे मिट्टी मे
उगे थे जहां से
तुम अपने सोने वाले पंख लगा के
उड़ जाना फूलों के बाग की ओर

__Infinity

Monday, June 13, 2016

धरती माँ का गला दबा रहे है






सजीब पेड़ को काट कर
निर्जीव कंकरीट के जंगल बना रहे है
हर रोज एक किस्त
अपने धरती माँ का गला दबा रहे है


__Infinity

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Monday, March 14, 2016

सरहद कि रक्षा करने वाला कोई निर्जीव लौटा है

पड़ोस मे छाया है सन्नाटा
चुप रहो चुप रहो
कि सरहद कि रक्षा करने वाला
कोई निर्जीव लौटा है

__Infinity

कई किसान लटक जाते है फंदे से .





















बेमौसम बारिशों मे
जब चाय और पकौड़ो की सोचते हो तुम
कई किसान लटक जाते है फंदे से __Infinity

Saturday, January 16, 2016

किसी की इबादत क्यों करे कोई






















ये बच्चा करता है 
जूता पालिश
जीता है अपनी जिंदगी
किसी से शिकायत नहीं
किसी की इबादत क्यों करे कोई

Friday, September 18, 2015

मेरी यादो के भगवान हो तुम

तुम्हारे लिए मैं कुछ हूँ कि ना हूँ 
मेरे लिए सारा जहाँ हो तुम
याद आती नहीं होगी कभी मेरी तुझे
मेरी यादो के भगवान हो तुम
---Infinity

Friday, August 28, 2015

सिर्फ एक इंसान था वो

ना हिन्दू था न मुसलमान था वो
एक बूढ़ा भूखे पेट मर गया
सिर्फ एक इंसान था वो ॥

--- Infinity